उज्जैन के तराना में मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव के मंच पर स्थानीय और कांग्रेस विधायक महेश परमार अपना भाषण देकर चले गए। इस पर मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव ने मंच से ही बिना उनका नाम लिए कहा कि जब भी धर्म की बात आती है, कांग्रेस मैदान छोड़ देती है।
सीएम के बयान पर कांग्रेस विधायक महेश परमार ने कहा कि वे पूरे कार्यक्रम में मौजूद रहे। अपना भाषण दिया। मुख्यमंत्री का मैं सम्मान करता हूं, उन्हें इतनी छोटी बात नहीं करनी चाहिए।
बता दें कि गुरुवार को सीएम उज्जैन के तराना के दौरे पर रहे। यहां उन्होंने नर्मदा-शिप्रा बहुउद्देशीय परियोजना के तहत पाइप लाइन का लोकार्पण किया। साथ ही करोड़ों रुपए के विकास कार्यों का भूमिपूजन-लोकार्पण किया। इस कार्यक्रम में कांग्रेस विधायक महेश परमार भी मौजूद थे। वे सीएम के भाषण से पहले ही अपना भाषण देकर चले गए।
सीएम बोले- जब जब धर्म की बात निकली और कांग्रेस भागी कांग्रेस विधायक महेश परमार के चले जाने के बाद सीएम डॉ. मोहन यादव ने बिना नाम लिए उन पर और कांग्रेस पर तंज कसा। उन्होंने कहा-
जब मेरे बोलने के मौका आया तो ये कांग्रेस के कलेजे नहीं है कि वो बैठकर सुने। उनकी हवा निकल जाएगी। ये हमको समझ में नहीं आता कि कांग्रेस के मित्रों से, कि आपका और हमारे धर्म का क्या झगड़ा है। आज तक समझ में नहीं आया। जब जब धर्म की बात निकली और कांग्रेस भागी, मैदान छोड़ दिया। क्यों छोड़ती है हमको नहीं मालूम। धर्म की बात अगर हम करते हैं तो धर्म की बात गलत कैसे हो सकती है। धर्म की नहीं तो क्या अधर्म की बात करें।
सीएम के बयान पर कांग्रेस विधायक महेश परमार का जवाब
सीएम के बयान पर कांग्रेस विधायक महेश परमार ने भोपाल में अपना पक्ष रखा। महेश परमार उज्जैन में कार्यक्रम में शामिल होने के बाद विधानसभा की कार्यवाही में शामिल होने भोपाल आए थे। उन्होंने कहा-
मैं पूरे कार्यक्रम में मौजूद रहा। क्षेत्रिय विधायक हूं। भाषण देकर आया। मैं अपनी बात रखकर आया। मुख्यमंत्री जी को इतना ही शौक है तो अपनी पार्टी का कार्यक्रम कर लें। इनकी झूठी बातें और बुराई सुनने के लिए तो मंच पर रहूंगा नहीं मैं। इनको इतना ही शौक है तो एक बार स्वयं का कार्यक्रम, पार्टी का कार्यक्रम कर लें।
'जब सांप-बिच्छू के मंत्र नहीं आते, तो उन्हें क्यों छेड़ रहे' मुख्यमंत्री ने कहा कि प्रयागराज महाकुंभ को लेकर कांग्रेस के अध्यक्ष की बुद्धि भ्रमित हो गई थी। उन्होंने कहा था कि नहाने से क्या होता है? मुख्यमंत्री ने तंज कसते हुए कहा- जब आपको सांप-बिच्छू के मंत्र नहीं आते, तो आप उन्हें क्यों छेड़ रहे हैं?
दिल्ली में हुए चुनावों पर टिप्पणी करते हुए सीएम ने कहा कि सनातन का अपमान करने वालों का जनता ने हिसाब चुकता कर दिया। वहां झाड़ू चल गई। कांग्रेस एक भी सीट नहीं जीत पाई।
सीएम तराना में श्री तिलभांडेश्वर महादेव मंदिर के नए महंत की चादर विधि कार्यक्रम और महारुद्र यज्ञ में भी शामिल हुए। इस मौके पर सीएम यादव ने कहा कि उज्जैन को सांस्कृतिक राजधानी बनाना हमारा प्रयास है। इसके लिए लगातार काम हो रहे हैं। शिप्रा नदी के जल से कुंभ स्नान सुनिश्चित करने के लिए 900 करोड़ रुपए की परियोजनाओं पर काम चल रहा है।
अपने गुरु से मिलने पहुंचे सीएम डॉ. मोहन यादव गुरुवार को सिंचाई परियोजना का लोकार्पण करने से पहले बुधवार रात सीएम ने अपने गुरु कैलाश चंद्र शील के तीन बत्ती स्थित निवास पर पहुंचकर उनका आशीर्वाद लिया। उज्जैन प्रवास के दौरान मुख्यमंत्री डॉक्टर यादव ने शॉल ओढ़ा कर अपने गुरु का सम्मान किया। इस दौरान प्रोफेसर शील ने 500 रुपए और श्री फल भेंट किया, तो सीएम मोहन यादव ने भी अपने गुरु के पैर छूकर आशीर्वाद लिया और फिर उन्होंने भी अपने गुरु को भेंट स्वरूप 1000 रुपए दिए।