नई दिल्ली । प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने भारत और 10 दक्षिणपूर्वी एशियाई देशों के संगठन आसियान के बीच डिजिटल शिखर बैठक की सह-अध्यक्षता की। इस दौरान उन्होंने कहा कि भारत और आसियान की स्ट्रैटेजिक पार्टनरशिप हमारी साझा ऐतिहासिक भौगोलिक और सांस्कृतिक धरोहर पर आधारित है। आसियान समूह शुरु से हमारी एक्ट ईस्ट पॉलिसी का मूल केंद्र रहा है। पीएम मोदी ने कहा हर साल की तरह हम हाथ से हाथ जोड़कर अपनी फैमिली फोटो नहीं ले सके लेकिन फिर भी मुझे खुशी है कि वर्चुअल जरिए से मुलाकात हो रही है। विदेश मंत्रालय ने बुधवार को कहा था कि इस शिखर बैठक में आसियान-भारत रणनीतिक साझेदारी की मौजूदा स्थिति की समीक्षा की जाएगी तथा संपर्क समुद्री मार्ग संबंधी सहयोग, व्यापार एवं वाणिज्य, शिक्षा और क्षमता निर्माण जैसे महत्वपूर्ण क्षेत्रों में हुई प्रगति पर भी विचार किया जाएगा। दक्षिणपूर्वी एशियाई राष्ट्रों के संगठन आसियान को क्षेत्र का सबसे प्रभावशाली समूह माना जाता है तथा भारत चीन जापान और आस्ट्रेलिया इसके संवाद साझेदार हैं। यह शिखर बैठक उस वक्त हुई है जब दक्षिणी चीन सागर और पूर्वी लद्दाख में चीन का आक्रामक व्यवहार देखने को मिल रहा है। कई आसियान देशों का दक्षिणी चीन सागर में चीन के साथ सीमा विवाद है। प्रधानमंत्री मोदी ने इस 17वें आसियान-भारत शिखर की बैठक की वियतनामी प्रधानमंत्री गुयेन जुआन फुक के साथ सह-अध्यक्षता की। आसियान में इंडोनेशिया, मलेशिया, फिलीपीन, सिंगापुर, थाईलैंड, ब्रुनेई, वियतनाम, लाओस, म्यामां और कंबोडिया शामिल हैं। प्रधानमंत्री मोदी पिछले साल नवंबर में बैंकॉक में हुई 16वीं आसियान-भारत शिखर बैठक में शामिल हुए थे।