नई दिल्ली । जम्मू-कश्मीर के नगरोटा में हुए आतंकी मुठभेड़ के बाद सरकार सतर्क हो गई है। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने गृह मंत्री अमित शाह, राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार अजील डोभाल, विदेश सचिव समेत शीर्ष खुफिया प्रतिष्ठान के साथ नगरोटा मुठभेड़ पर समीक्षा बैठक की। सरकार के सूत्रों ने इसकी जानकारी दी है। सरकार के सूत्रों ने बताया है कि बैठक से यह बात निकलकर आई है कि आतंकवादी 26/11 आतंकी हमले की बरसी पर देश को एक बार फिर दहलाने की साजिश रच रहे थे। गौरतलब है कि गुरुवार को जम्मू-कश्मीर के नगरोटा में सुरक्षाबलों ने मुठभेड़ में जैश-ए-मोहम्मद के चार आतंकियों को मार गिराया। इस घटना की जानकारी देते हुए आईजी मुकेश सिंह ने कहा कि जम्मू-कश्मीर के नगरोटा में आतंकियों के पास से 11 एके-47 राइफल, तीन पिस्तौल, 29 ग्रेनेड, मोबाइल फोन, कंपास, गोला-बारूद और अन्य कई उपकरण बरामद हुए हैं। उन्होंने बताया कि फिलहाल मारे गए आतंकियों की पहचान नहीं हुई है।
पाकिस्तानी होने से इनकार नहीं
आईजी सिंह ने बताया कि पिछले कुछ दिनों से जब से डीडीसी चुनावों की प्रक्रिया शुरू हुई है, तब से हमारे पास इंटेलिजेंस इनपुट आ रहे थे। इससे हमें जानकारी मिली थी कि चुनाव के मद्देनजर सीमापार से घुसपैठ की आशंका है। साथ ही किसी विशेष टारगेट के लिए हथियारों की तस्करी भी की जा सकती है। जो आतंकी मारे गए हैं हो सकता है वो पाकिस्तान के हों।
चालक फरार होते ही फायरिंग शुरू हो गई
आईजी के अनुसार हमने सभी नाकों पर अलर्ट कर दिया था। सभी नाकों पर पुलिस और सीआरपीएफ के जवान तैनात थे। चेकिंग के दौरान एक ट्रक को रोका गया। शक होने पर जब ट्रक की तलाशी ली गई तो चालक फरार हो गया। इसी दौरान सुरक्षाबलों पर फायरिंग होने लगी। जवाबी कार्रवाई में स्थानीय सेना और अन्य बलों ने भी साथ दिया। यह मुठभेड़ करीब तीन घंटे तक चली, जिसमें सुरक्षाबलों पर काफी भारी मात्रा में गोला बारूद से हमला किया गया साथ ही ग्रेनेड भी फेंके गए।