पेइचिंग। पूर्वी लद्दाख में चीन की दादागिरी के खिलाफ पैंगोंग झील के पास भारतीय सेना के जोरदार पलटवार की चर्चा अब चीनी सोशल मीडिया में तेज हो गई है। चीनी सोशल मीडिया में जारी ताजा सैटलाइट तस्वीरों में भारतीय सेना की पहाड़ी युद्ध लड़ने की काबिलियत एक बार फिर से उजागर हो गई है। चीन के गाओफेन-2 सैटलाइट से खुलासा हुआ है कि भारतीय सैनिक अब रणनीतिक रूप से बेहद अहम ब्लैक टॉप से मात्र डेढ़ किमी दूर हैं। भारतीय सैनिक अब इस स्थिति में आ गए हैं कि वे चीन के मोल्दो कैंप को भी निशाना बना सकते हैं। इसी कैंप में भारत और चीन के सैन्य अधिकारियों के बीच बातचीत होती है। भारत की इस बढ़त से साफ हो गया है कि ये जवान पहाड़ी युद्ध में महारत रखते हैं और ऊंची से ऊंची पहाड़ी को मात्र कुछ ही समय में चढ़ने में सक्षम हैं।
भारतीय सेना की इस तैनाती को देखते हुए चीन ने भी बड़ी संख्या में तैनाती किए हैं। बताया जा रहा है कि दोनों ओर से करीब 50-50 हजार जवानों की तैनाती की गई है। ओपन इंटेलिजेंस सोर्स के मुताबिक जिस गति से भारतीय सैनिक आगे बढ़ रहे हैं, उससे लग रहा है कि वे अभी रुके नहीं हैं और आने वाले समय में भारतीय सैनिकों के और आगे बढ़ने की खबर आ सकती है।
चीन के सोशल मीडिया पर तस्वीरें शेयर की जा रही हैं, जिनमें भारतीय खेमे की स्थिति भी दिखाई जा रही है। इनमें भारतीय कैंप दिखाए जा रहे हैं जो स्पांगुर गैप में ऊंचाई पर बैठे हैं, जबकि चीनी कैंप नीचे हैं। इससे पहले भी चीन के सोशल मीडिया पर भारत की पोजिशन की तस्वीरें शेयर की जा रही थीं। इनमें पैंगॉन्ग के दक्षिण में पहाड़ों पर पीएलए कैंप पर नजर रखते भारतीय सेना के कैंप दिखाए गए थे, भारतीय खेमे की तैयारी से बौखलाए चीन ने यहां सपॉर्ट कैंप भी तेजी से लगाने शुरू कर दिए हैं।