7 अक्टूबर 2023 से जारी इजराइल-हमास जंग के बीच UN ने सेक्शुअल वॉयलेंस पर दो दिन में दूसरी रिपोर्ट जारी की है। इस बार इजराइल पर फिलिस्तीनी महिलाओं से रेप के आरोप लगाए गए हैं।
सोमवार को जारी UN कमेटी की रिपोर्ट में जंग शुरू होने के 150 दिन बाद पहली बार माना गया था कि 7 अक्टूबर को इजराइल पर हमले के दौरान महिलाओं से रेप और गैंगरेप किया गया था। ब्रिटिश अखबार ‘द गार्डियन’ ने इजराइल पर आरोपों वाली रिपोर्ट पब्लिश की है।
मारपीट भी की गई
रिपोर्ट में इजराइली डिटेंशन सेंटर्स में फिलिस्तीनियों की हालत बयां की गई है। इसके मुताबिक- फिलिस्तीनियों को इजराइली कैद में टॉर्चर किया गया। उनके ऊपर कुत्ते छोड़े गए। कई मामलों में रेप और सेक्शुअल असॉल्ट के भी आरोप हैं।
यह रिपोर्ट ‘UN रिलीफ एंड वर्क्स एजेंसी फॉर फिलिस्तीन’ यानी UNRWA ने तैयार की है। खास बात यह है कि UN की इसी एजेंसी के कर्मचारियों के खिलाफ इजराइल पर हमले में हमास की मदद के न सिर्फ गंभीर आरोप लगे, बल्कि इजराइल ने इसके सबूत भी पेश किए थे।
UN की इस रिपोर्ट के मुताबिक- दिसंबर में इजराइली जेलों से रिहा किए गए फिलिस्तीनियों ने अपने साथ हुए जुल्मों के बारे में बताया है। एक हजार फिलिस्तीनी रिहा किए गए हैं। 3 हजार से ज्यादा अब भी इजराइली जेलों में मौजूद हैं। गाजा के करीब 4 हजार लोगों को इजराइल ने गिरफ्तार किया है।
न्यूयॉर्क टाइम्स ने भी UN की इस रिपोर्ट की जानकारी दी है। इसके मुताबिक- गिरफ्तार किए गए लोगों को ट्रकों में ले जाया गया। इन्हें मिलिट्री बैरकों में रखा गया। हर बैरक में 100 से 200 लोग रखे गए। हर बैरक से अलग-अलग लोगों को किसी अनजान जगह पूछताछ के लिए ले जाया जाता था।
टॉर्चर के तरीके
रिपोर्ट में फिलिस्तीनी कैदियों पर टॉर्चर के तरीकों का भी तफ्सील से जिक्र है। मसलन- कई घंटे तक इस पोजिशन में रखना, जिससे शरीर में दर्द हो। कुत्तों से हमला करवाना। बहुत तेज आवाज में म्यूजिक चलाना। भूखा, प्यासा रखने के साथ ही सोने न देना। धार्मिक प्रार्थना न करने देना आदि। कई कैदियों की बेरहमी से पिटाई की गई। उनके शरीर के हर हिस्से पर गंभीर चोट हैं।
दिसंबर 2023 के बाद से 4 मार्च 2024 तक इजराइल ने कुल 1002 फिलिस्तीनी कैदी रिहा किए। इनमें 29 बच्चे और 80 महिलाएं हैं। इसके अलावा UN के 21 स्टाफर भी रिलीज किए गए। इजराइल ने इस रिपोर्ट को खारिज करते हुए झूठ का पुलिंदा और प्रोपैगंडा बताया है।
पहली रिपोर्ट में हमास पर आरोप
सोमवार को पब्लिश रिपोर्ट में UN ने पहली बार माना था कि 7 अक्टूबर 2023 को इजराइल पर हमले के दौरान हमास आतंकियों ने न सिर्फ 1200 लोगों की हत्या की थी, बल्कि इजराइली और दूसरे देशों की महिलाओं के साथ रेप भी किया था।
UN की एजेंसी ‘स्पेशल रिप्रेजेंटेटिव्स ऑफ सेक्रेटरी जनरल ऑन सेक्शुअल वॉयलेंस इन कनफ्लिक्ट’ की रिपोर्ट के मुताबिक- 7 अक्टूबर 2023 को इजराइल की कम से कम तीन लोकेशन्स से ऐसे सबूत मिले हैं, जिनसे पता चलता है कि वहां महिलाओं से गैंगरेप हुआ था।
इसी दिन इजराइल ने गाजा पर हमला बोला था। जंग अब तक जारी है। हमास का दावा है कि इसमें अब तक 30 हजार फिलिस्तीनी मारे गए हैं।
रिपोर्ट के मुताबिक- कुछ सबूत ऐसे मिले हैं, जिनसे पता लगता है कि महिलाओं से रेप या गैंगरेप के बाद उनको मार डाला गया। इस रिपोर्ट के जारी होने के बावजूद इजराइल संतुष्ट नहीं है। उसने कहा- हमास ने बर्बरता की तमाम हदें पार कीं और UN इसकी निंदा तक नहीं कर पाया। उसे सिक्योरिटी काउंसिल की मीटिंग बुलाकर हमास के खिलाफ एक्शन लेना चाहिए था।
इजराइली फॉरेन मिनिस्टर इसराइल केत्ज ने कहा- UN अब भी इस मामले को दबाने की कोशिश कर रहा है। मैंने UN में अपने एंबैसडर से कहा है कि वो इस मामले को उठाएं। तमाम अधिकार होने के बावजूद UN सेक्रेटरी जनरल ने सिक्योरिटी काउंसिल की मीटिंग क्यों नहीं बुलाई। हमास और उसके मददगारों पर अब तक पाबंदियां क्यों नहीं लगाई गईं?
गुस्से में इजराइली
UN की यह रिपोर्ट जारी होने के बाद इजराइल के आम लोग बेहद गुस्से में हैं। इस बात की जानकारी खुद फॉरेन मिनिस्टर केत्ज ने कहा- हर सबूत सामने था। इसके बावजूद को यह समझने और मानने में 5 महीने लग गए कि हमास के आतंकियों ने इजराइली महिलाओं से गैंगरेप और फिर उनका कत्ल किया था। UN को शर्म आनी चाहिए कि वो इतने बड़े मामले की जांच तक नहीं करा पाया।
सीजफायर के सवाल पर इजराइली फॉरेन मिनिस्टर ने कहा- इजराइली बंधकों ने क्या मुश्किलें झेली हैं, हमें पहले यह पता करना है। क्या बंधक महिलाओं का बाद में भी रेप हुआ? ये भी पता करना है।
यह रिपोर्ट UN की स्पेशल रिप्रेजेंटेटिव प्रमिला पैटन और उनकी टीम ने तैयार की है। प्रमिला के मुताबिक- आशंका है कि हमास की कैद में मौजूद महिलाओं के साथ ज्यादती हो रही होगी।