मेटा ध्यान (Metta Meditation) को आमतौर पर लविंग काइंडनेस मेडिटेशन के रूप में भी जाना जाता है। इस ध्यान को करने से खुशी और दया का भाव जागृत होता है और दूसरों के प्रति अच्छे विचार उत्पन्न होते हैं। इस ध्यान को करने से आपके व्यक्तित्व का विकास होता है और आप भीड़ में एक अलग पहचान बना पाते हैं। कई रिसर्च से यह भी पता चला कि इसको करने से अवसाद, नकारात्मकता और मानसिक विकारों को समाप्त भी कर सकते हैं।
मेटा ध्यान का अभ्यास करके आप खुद से बिना शर्त के प्रेम करना सीखते हैं और फिर आप सीखते हैं कि अपने आसपास के सभी लोगों के लिए निश्छल और निस्वार्थ प्रेम को कैसे विकसित किया जाए। साथ ही आप यह भी सीखते हैं कि उन लोगों के लिए भी करुणा कैसे महसूस करें, जिन्होंने आपको गहराई से चोट पहुंचाई हो या जिनके साथ आपका टकराव हुआ हो।
मेटा एक पाली शब्द है जिसका मतलब प्रेम-दया, सद्भावना, मित्रता, आत्मीयता, सहमति, परोपकार, समरसता और अहिंसा है। यदि आपको सरल शब्दों में वर्णन करना है, तो मेटा ध्यान आपके अंदर प्रेम, दया और सुख को पैदा करता है और दूसरों के लिए प्रेम और दया की भावना को जागृत करता है। इस मेडिटेशन की शुरुआत बौद्ध परंपराओं से हुई है। विशेषतौर पर यह ध्यान थेरवाद और तिब्बतियों द्वारा किया जाता है।
इस ध्यान तकनीक का अभ्यास विभिन्न तरीकों से किया जा सकता है। इसे और प्रभावी बनाने के लिए आप किसी ट्रेनर की मदद ले सकते हैं। लेकिन, यदि आप अपने दम पर शुरू करना चाहते हैं तो आप निम्नलिखित तरीके से मेटा मेडिटेशन को आजमा सकते हैं।
यहां मेटा मेडिटेशन के कुछ आश्चर्यजनक लाभ हैं।
आजकल की भागदौड़ भरी जिंदगी में मेटा ध्यान (Metta Meditation) करना अति आवश्यक है। इसका अभ्यास करने से आप स्वंय और दूसरों के प्रति धैर्य, प्रेम, दया और परोपकार जैसी भावनाओं को पैदा करते हैं। साथ ही यह हमें बेहतर तरीके से जीने की कला भी सिखाता है।