अमेरिका-चीन में हुआ घमासान तो भारत को होगा बहुत बड़ा नुकसान, किसने की है यह भविष्यवाणी?
Updated on
11-04-2025 04:55 PM
नई दिल्ली: दुनिया की दो सबसे बड़ी अर्थव्यवस्थाओं अमेरिका और चीन के बीच टैरिफ वॉर रुकने का नाम नहीं ले रहा है। अमेरिका ने चीन पर टैरिफ बढ़ाकर 145% कर दिया है। इसके जवाब में चीन ने भी अमेरिका पर टैरिफ 84% से बढ़ाकर 125% कर दिया है। माना जा रहा है कि इन दो देशों के बीच चल रहे ट्रेड वॉर का फायदा भारत को मिल सकता है। लेकिन जानकारों का कहना है कि अगर अमेरिका और चीन की इकॉनमी मंदी में फंसी तो इसका भारत पर बहुत बुरा असर पड़ेगा। यह असर ट्रंप के टैरिफ से भी ज्यादा खतरनाक होगा। भारत के लिए इसकी भरपाई कर पाना मुश्किल होगा। इसकी वजह यह है कि चीन भारत का सबसे बड़ा ट्रेडिंग पार्टनर है जबकि अमेरिका दूसरे नंबर पर है। यह चेतावनी अर्थशास्त्री और ईटी नाउ के कंसल्टिंग एडिटर स्वामीनाथन अय्यर ने दी है।
अय्यर ने ईटी नाउ को बताया कि अगर अमेरिका और चीन में बड़ी मंदी आती है, तो पूरी दुनिया पर इसका असर होगा। भारत पर भी इसका बहुत बुरा असर पड़ेगा। यह असर ट्रंप के टैरिफ के असर से कहीं ज्यादा होगा। उन्होंने कहा कि ट्रंप की टैरिफ योजनाओं से सप्लाई चेन बाधित होगी, आर्थिक विकास धीमा होगा और दुनिया की अर्थव्यवस्था में उथल-पुथल मचेगी। अय्यर ने ट्रंप के इस दावे को भी खारिज कर दिया था कि टैरिफ से अमेरिका एक बड़ा मैन्यूफैक्चरिंग हब बन जाएगा। उन्होंने इसे 'एक आपदा' बताया और कहा इससे आर्थिक सुधार के बजाय आर्थिक नुकसान होगा।
मंदी की आशंका
ट्रंप ने चीन को छोड़कर बाकी सभी देशों को रेसिप्रोकल टैरिफ में 90 दिन की मोहलत दी है। गोल्डमैन सैश ने अमेरिकी मंदी के अपने पूर्वानुमान को कम कर दिया है। लेकिन, उसका कहना है कि सरकारी नीतियों को लेकर अनिश्चितता के कारण इस साल अमेरिकी अर्थव्यवस्था में तेजी से गिरावट आएगी। वहीं, जेपी मॉर्गन ने अपना सतर्क रुख बरकरार रखा है। बैंक ने कहा है कि अमेरिका में मंदी की आशंका अब भी ज्यादा है। उसने इसका अनुमान 60% पर रखा है।
इस बीच आरबीआई ने इस वित्त वर्ष के लिए अपने जीडीपी ग्रोथ के पूर्वानुमान को 6.7 फीसदी से घटाकर 6.5 फीसदी कर दिया है। मूडीज एनालिटिक्स ने भी भारत के ग्रोथ के अनुमान में कटौती करते हुए 6.1% कर दिया है। यह मार्च में किए गए पिछले पूर्वानुमान से 30 आधार अंक कम है। यह कटौती अमेरिका द्वारा लगाए गए नए टैरिफ के बाद की गई है। मॉर्गन स्टेनली और नोमुरा जैसे शीर्ष वैश्विक बैंकों के अर्थशास्त्रियों ने पहले चेतावनी दी थी कि भारत और थाईलैंड उन देशों में शामिल हैं जो ट्रंप की टैरिफ योजना से सबसे ज्यादा प्रभावित होंगे।
नहीं हो पाएगी भरपाई
अय्यर ने कहा कि इस बात की प्रबल संभावना है कि अमेरिका में मंदी आने वाली है। उन्होंने साथ ही कहा कि चीन भले ही नकारात्मक जीडीपी विकास की रिपोर्ट न करे लेकिन टैरिफ से वह एक बड़ी मंदी का अनुभव करेगा। दोनों देशों के एक साथ नीचे गिरने से वैश्विक अर्थव्यवस्था नीचे आ जाएगी। क्या भारत को चीन के नुकसान से कोई सार्थक लाभ हो सकता है? हमारी मेज पर कुछ टुकड़े गिर सकते हैं>भारत को कपड़ा या निम्न-स्तरीय विनिर्माण जैसे क्षेत्रों में कुछ फायदा मिल सकता है लेकिन यह वैश्विक मंदी के व्यापक प्रभाव को ऑफसेट करने के लिए पर्याप्त नहीं होगा।
नई दिल्ली: मिलावटी पनीर की बढ़ती समस्या को देखते हुए उपभोक्ता मामलों का मंत्रालय रेस्तरां के लिए इस बारे में दिशानिर्देश जारी करने पर विचार कर रहा है। कंज्यूमर अफेयर्स सेक्रेटरी निधि खरे ने…
नई दिल्ली: अगर आप एटीएम से 100 या 200 रुपये का नोट न मिलने से परेशान हैं, तो यह परेशानी जल्दी दूर हो सकती है। इस बारे में रिजर्व बैंक ने सभी बैंकों को दिशा-निर्देश…
नई दिल्ली: गौतम अडानी की कंपनी अडानी ग्रीन एनर्जी के शेयर में मंगलवार को तेजी आ गई। इस कंपनी के शेयर में तेजी आने के कई कारण रहे। पहला, कंपनी को वित्त वर्ष 2025 की चौथी…
नई दिल्ली: सोने की कीमतें भले ही आसमान छू रही हों, लेकिन अक्षय तृतीया के मौके पर गहनों की दुकानें ग्राहकों को लुभाने के लिए नए-नए ऑफर्स लेकर आई हैं। अक्षय तृतीया कल यानी बुधवार…
नई दिल्ली: अमेरिका के राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप के दूसरे कार्यकाल के 100 दिन हो गए हैं। इस दौरान उन्होंने आर्थिक मोर्चे पर एक के बाद एक कई ताबड़तोड़ फैसले लिए हैं। खासकर कई…
नई दिल्ली: करजन टोल प्लाजा देश में सबसे ज्यादा कमाई करने वाले टोल प्लाजा है। इसकी सालाना कमाई करीब 500 करोड़ रुपये है। गुजरात के वडोदरा जिले के भरथाना में स्थित इस…