थिंक टैंक ग्लोबल ट्रेड रिसर्च इनीशिएटिव (GTRI) ने चिंता जताई है कि UAE से फ्री ट्रेड एग्रीमेंट के तहत बड़ी मात्रा में कीमती धातुओं का आयात हो रहा है। GTRI ने कहा कि इंडिया-UAE कॉम्प्रिहेंसिव इकनॉमिक पार्टनरशिप एग्रीमेंट में UAE से अभी 5% ड्यूटी पर गोल्ड इंपोर्ट हो सकता है, लेकिन आने वाले 3 वर्षों में ड्यूटी इस शर्त के साथ जीरो हो जाएगी कि अलॉय में 2% प्लैटिनम मिला हो। ‘FY24 के इंपोर्ट के आंकड़ों को देखते हुए CEPA के तहत गोल्ड और सिल्वर के ड्यूटी फ्री इंपोर्ट से सालाना 63,375 करोड़ रुपये के रेवेन्यू लॉस होने का अनुमान है।’ उसने कहा कि इससे देश की जूलरी इंडस्ट्री को भी मुश्किल होगी।