नई दिल्ली । कोरोना वायरस पर शोधकर्ताओं ने पाया है कि कुछ अनजान कारक भी कोरोना से होने वाली मौत का बड़ा कारण बनते जा रहे हैं। एक शोध के मुताबिक किसी व्यक्ति की शादी न होना भी उसके लिए कोरोना से जान जाने का खतरा बढ़ा सकता है। जानकारी के मुताबिक स्टॉकहोम विश्वविद्यालय के शोधकर्ताओं ने पाया है कि किसी इंसान की आय कम होना, शिक्षा का निम्न स्तर, शादी न होना और विदेश में अकेले रहना भी कोरोना से संक्रमित होने का बड़ा कारण साबित हो सकता है। शोध में पाया गया है कि इन सभी लोगों में एक जैसी चीज जो देखने को मिली है वह है उनकी खराब जीवनशैली। शोधकर्ताओं के मुताबिक खराब जीवनशैली आपकी सेहत पर गंभीर असर डालती है।
शोध के मुताबिक अकेले रहने वाले लोग दंपतियों की तुलना में कम सुरक्षित वातावरण में रहते हैं। बता दें कि इस बारे में पहले ही वैज्ञानिकों ने कहा है कि कोरोना का असर हर मरीज की उम्र और सेहत के हिसाब से जोखिम को बढ़ाता और कम करता है।समाजशास्त्री व अग्रणी शोधकर्ता स्वेन डेफरल का कहना है कि कम पढ़े लिखे और कम आय वाले पुरुषों में कोरोना से संक्रमित होने और जान जाने का खतरा ज्यादा होता है। डेफरल ने इस बारे में समझाते हुए कहा कि पुरुषों की जैविक बनावट और जीवनशैली के कारण उनके वायरस की जद में आने की संभावना अधिक होती है इसके साथ ही परिवार के साथ रहने वाला पुरुष बेहतर तरीके से पौष्टिक भोजन का सेवन करता है, जिसके कारण उनमें अकेले रहने वाले पुरुषों की तुलता में वायरस से लड़ने की क्षमता ज्यादा होती है। सही समय पर खाने पीने की आदत किसी भी इंसान की सेहत पर असर डालती है। शोध में पाया गया कि कोरोना से उन मरीजों की जान ज्यादा गई है जो कम आय वाले थे, कम पढ़े लिखे थे, अविवाहित थे या फिर किसी देश में अकेले रह कर काम कर रहे थे।
इस शोध का पता लगाने के लिए शोधकर्ताओं ने स्वीडन में कोरोना से संक्रमित 20 साल से अधिक उम्र के मृतकों का डाटा तैयार किया। कोरोना से होने वाली मरीजों की जानकारी की तुलना मरीजों के सरकारी डाटा से की गई। इसमें मरीज का निवास स्थान, उम्र, जन्म स्थान, वैवाहिक स्थिति, शिक्षा आदि के बारे में जानकारी थी।