Select Date:

ताइवान बोला-चीन से न मोदी जी डरेंगे, न हम:ताइवानी उप-विदेश मंत्री का ड्रैगन को जवाब

Updated on 19-06-2024 01:16 PM

भारत में लोकसभा चुनाव में पीएम मोदी के फिर से PM बनने पर ताइवान के राष्ट्रपति लाइ चिंग ते ने बधाई दी थी। इसके बाद चीन ने इस पर आपत्ति जताई थी। अब ताइवान ने इस पर पलटवार किया है। ताइवान के उप विदेश मंत्री टीएन चुंग-क्वांग ने कहा कि मुझे लगता है कि न तो मोदी जी और न ही हमारे राष्ट्रपति चीन से डरने वाले हैं।

दरअसल भारत और ताइवान के बीच मजबूत संबंधों की बात पर चीन की आलोचना के बारे में ताइवानी उप विदेश मंत्री से सवाल पूछा गया था। इस पर उन्होंने ये बात कही। ताइवान के विदेश मंत्रालय ने कहा कि दोनों नेताओं (भारत के PM और ताइवान के राष्ट्रपति) के बीच सौहार्दपूर्ण बातचीत पर चीन का नाराज होना बिल्कुल गलत है।

ताइवाने विदेश मंत्रालय ने कहा कि धमकी देने से मित्रता नहीं बढ़ती। ताइवान, भारत के साथ साझेदारी बढ़ाने पर जोर दे रहा है। दोनों देशों के संबंध परस्पर लाभ और साझा मूल्यों पर आधारित हैं।

ताइवान के राष्ट्रपति की बधाई पर PM मोदी का जवाब
पिछले महीने राष्ट्रपति पद की शपथ लेने वाले ताइवान के राष्ट्रपति लाई चिंग ते ने 7 जून को एक पोस्ट में पीएम नरेंद्र मोदी को लोकसभा चुनाव 2024 में उनकी जीत पर बधाई दी थी।

उन्होंने एक पोस्ट में लिखा था कि भारत-ताइवान आपसी साझेदारी, व्यापार, टेक्नोलॉजी और अन्य क्षेत्रों में सहयोग बढ़ाने के लिए तैयार है ताकि इंडो पैसिफिक में शांति बन सके।

इसके बाद PM मोदी ने अपने जवाब में लिखा था, 'भारत ताइवान के साथ घनिष्ठ संबंध बनाने के लिए तैयार है।' मोदी के इस कमेंट से चीन भड़क गया था। इसके बाद चीनी विदेश मंत्रालय की प्रवक्ता माओ निंग ने भारत को चेतावनी दी थी कि वो ताइवान से दूर रहे।

माओ निंग ने कहा था कि दुनिया में सिर्फ एक चीन है और ताइवान चीन का ही एक हिस्सा है। चीन ताइवान को अलग देश मानकर उससे रिश्ते रखने वाले देशों का विरोध करता है।

चीनी विदेश मंत्रालय की प्रवक्ता ने कहा कि दुनिया एक चीन के सिद्धांत को मानती है। इसी आधार पर वह दुनियाभर देशों के साथ संबंध बनाता है। भारत भी उन देशों में है जो वन चाइना पॉलिसी का समर्थन करता है। ऐसे में प्रधानमंत्री मोदी को ताइवान के राष्ट्रपति की बधाई का विरोध करना चाहिए।

ताइवान को लेकर क्या रहा है भारत का स्टैंड…
सीनियर जर्नलिस्ट पलकी शर्मा के मुताबिक दिसम्बर 1949 में भारत चीन को मान्यता देने वाले पहले एशियाई देशों में से एक रहा। इसके बाद 45 सालों तक भारत और ताइवान के बीच कोई औपचारिक सम्पर्क नहीं रहा। दोनों देशों के बीच गतिरोध की स्थिति बनी रही। ताईवान का रवैया भी भारत को लेकर बहुत पॉजिटिव नहीं था।

ताइवान अपनी वन-चाइना नीति पर अड़ा रहा, जिसमें ताइपे सत्ता का केंद्र था। तिब्बत और मैकमोहन लाइन पर उसकी पोजिशन ठीक वही थी, जो चीन की थी। उसके अमेरिका से गहरे सम्बंध थे, लेकिन भारत जैसे देशों में उसकी अधिक रुचि नहीं थी।

लेकिन, 1990 के दशक में भारत की विदेश नीति बदली। उसने लुक-ईस्ट नीति अपनाई, जिसके चलते ताइवान से रिश्ते बढ़ाने की कोशिश की और ताइवान ने भी अच्छी प्रतिक्रिया दी। 1995 में अनधिकृत दूतावासों की स्थापना की गई। 21वीं सदी की शुरुआत तक भारत के चीन से सम्बंध अपने सबसे अच्छे दौर में प्रवेश कर चुके थे।

प्रधानमंत्री वाजपेयी चीन की सफल यात्रा करके लौटे थे। भारत की प्राथमिकताएं एक बार फिर ताइवान से दूर खिसक गईं। 2008 के बाद कुछ छिटपुट कोशिशें की गईं, जब ताइवानी मंत्रियों ने भारत की यात्रा की थी, लेकिन यह भारत को जानने-समझने तक ही सीमित थी। बड़ा बूस्ट 2014 में तब आया, जब प्रधानमंत्री मोदी ने ताइवानी प्रतिनिधियों को अपने शपथ-ग्रहण समारोह में बुलाया।

ताइवान को लेकर मोदी के मन में एक राजनीतिक धारणा थी और अतीत में भी वे ताईवान से रिश्ते कायम कर चुके थे। 1999 में मोदी ने भाजपा महासचिव के रूप में ताइवान की यात्रा की थी। 2011 में गुजरात के मुख्यमंत्री के रूप में उन्होंने भारत में ताइवान के सबसे बड़े प्रतिनिधिमंडल की मेजबानी की थी। प्रधानमंत्री के रूप में भी उन्होंने ताइवान से सम्बंध बनाए रखे। हालांकि, भारत ने ताइवान को अलग देश के रूप में मान्यता नहीं दी है।

चीन - ताइवान के बीच विवाद क्यों?
चीन ताइवान को अपना ही हिस्सा मानता है। जबकि ताइवान खुद को एक स्वतंत्र देश मानता है। चीन इसलिए ताइवान पर कब्जा करना चाहता है। ऐसा करके चीन पश्चिमी प्रशांत महासागर इलाके में अपना दबदबा दिखाने के लिए आजाद हो जाएगा। इससे गुआम और हवाई जैसे अमेरिकी मिलिट्री बेस के लिए खतरा पैदा हो जाएगा।



अन्य महत्वपुर्ण खबरें

 04 November 2024
कनाडा के ब्रैम्पटन में रविवार को हिंदू मंदिर में आए लोगों पर खालिस्तानी समर्थकों ने हमला कर दिया। हमलावरों के हाथों में खालिस्तानी झंडे थे। उन्होंने मंदिर में मौजूद लोगों…
 04 November 2024
पाकिस्तान ने जम्मू-कश्मीर में लाइन ऑफ कंट्रोल (LOC) के पास 155 MM ट्रक-माउंटेड होवित्जर तोपों समेत दूसरे हथियारों की टेस्टिंग की है। हालांकि, ये टेस्टिंग कब हुई इसकी जानकारी अभी…
 04 November 2024
स्पेन में बाढ़ प्रभावित वेलेंसिया इलाके का दौरा करने गए किंग फिलिप और उनकी पत्नी क्वीन लेटिजिया पर लोगों ने कीचड़ फेंका। BBC के मुताबिक वहां मौजूद लोगों ने ‘हत्यारे’…
 04 November 2024
अमेरिका में राष्ट्रपति चुनाव से 2 दिन पहले एक गिलहरी चुनावी कैंपेन में चर्चा का विषय बन गई है। दरअसल, सोशल मीडिया पर वायरल हुई 'पीनट' नाम की गिलहरी को…
 02 November 2024
कनाडा की जासूसी एजेंसी कम्युनिकेशन सिक्योरिटी एस्टैब्लिशमेंट (CSE) ने खतरा पैदा करने वाले देशों की सूची में भारत को शामिल किया है। मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक, यह पहली बार है,…
 02 November 2024
अमेरिका ने 19 भारतीय कंपनियों पर रूस को डिफेंस से जुड़ा सामान उपलब्ध कराए जाने के आरोप लगाते हुए प्रतिबंध लगाए हैं। इन पर भारत ने शनिवार को सफाई दी…
 02 November 2024
भारत ने शुक्रवार को गृहमंत्री अमित शाह के खिलाफ आरोप लगाने के लिए कनाडाई उच्चायोग को तलब किया। विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता रणधीर जायसवाल ने शनिवार को कहा कि हमने…
 02 November 2024
8 सितंबर 1960 की बात है। डेमोक्रेटिक पार्टी से राष्ट्रपति पद के उम्मीदवार जॉन एफ कैनेडी कैंपेन के लिए अमेरिका के ओरेगन राज्य पहुंचे। यहां समर्थकों ने उन्हें घेर लिया।अपने…
 01 November 2024
फेस्टिवल ऑफ लाइट्स यानी दिवाली के त्योहार को लेकर भारत समेत दुनिया भर में जश्न मनाया गया। इस दौरान दुनिया के प्रमुख नेताओं ने दिवाली का त्योहार मनाया और शुभकामनाएं…
Advertisement