अहम् यह एक ऐसा शब्द है जिसने इंसान के जीवन को बड़ा जटिल बना दिया, अहम् से खुद का भी जीवन जटिल करेगे और दूसरों का भी। अहम् जिसे साधारण भाषा में प्रेस्टीज ईशु भी कहते हैं याने जो मैं सोचता हूं, कहता हूं, करता हूं वही सही है और उसके खिलाफ यदि कोई कुछ कह दे तो वह हमको ठेस पहुंचा देता है। कई लोग को यदी कोई काम कहा और उन्होने कर दिया और उसके बाद आप उनसे नहीं मिल पाये या धन्यवाद नहीं दिया तो इतने से भी उनके अहम् को ठेस पहुंच सकती है। इंसान में अहम् कूट-कूट कर भरा हुआ है बच्चा, बढ़ा, नर, नारी, यहा तक की कई सन्यासी वर्ग में भी अहम् है। सभी के अहम् अलग-अलग हैं, इंसान अहम् के पीछे किसी से भी भिड़ जाएगा लेकिन अपने अएम् को कायम रखेगा इसी कारण उसके कई मित्र परिवार से उसके रिश्तो में परिवर्तन आ जाता है। अशोक मेहता, इंदौर (लेखक, पत्रकार, पर्यावरणविद्) ये लेखक के अपने विचार है I
महाराष्ट्र में भाजपानीत महायुति और कांग्रेसनीत महाविकास आघाडी के लिए इस बार का विधानसभा चुनाव जीतना राजनीतिक जीवन मरण का प्रश्न बन गया है। भाजपा ने शुरू में यूपी के…
लोकसभा विधानसभा चुनाव के परिणाम घोषित हो चुके हैं।अमरवाड़ा उपचुनाव में भाजपा प्रत्याशी कमलेश शाह को विजयश्री का आशीर्वाद जनता ने दिया है। लोकसभा चुनाव में भाजपा ने 29 की 29 …
छत्तीसगढ़ के नीति निर्धारकों को दो कारकों पर विशेष ध्यान रखना पड़ता है एक तो यहां की आदिवासी बहुल आबादी और दूसरी यहां की कृषि प्रधान अर्थव्यस्था। राज्य की नीतियां…
भाजपा के राष्ट्रव्यापी संगठन पर्व सदस्यता अभियान में सदस्य संख्या दस करोड़ से अधिक हो गई है।पूर्व की 18 करोड़ की सदस्य संख्या में दस करोड़ नए सदस्य जोड़ने का…
छत्तीसगढ़ राज्य ने सरकार की योजनाओं और कार्यों को पारदर्शी और कुशल बनाने के लिए डिजिटल तकनीक को अपना प्रमुख साधन बनाया है। जनता की सुविधाओं को ध्यान में रखते…
वर्तमान समय में टूटते बिखरते समाज को पुनः संगठित करने के लिये जरूरत है उर्मिला जैसी आत्मबल और चारित्रिक गुणों से भरपूर महिलाओं की जो समाज को एकजुट रख राष्ट्र…