Select Date:

शराब बंदी: कांग्रेस और भाजपा दोनों में ही बटे हुए हैं विचार

Updated on 24-01-2021 02:12 PM
मुरैना जिले में जहरीली शराब के पीने के कारण दो दर्जन से अधिक जिंदगियों के मौत के आगोश में समा जाने के मामले को गंभीरता से लेते हुए मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने तुरंत कड़े कदम उठाए और एसआईटी का गठन कर दिया। उसके प्रतिवेदन के परिपेक्ष में राज्य में ग्रामीण अंचलों में नई शराब दुकानें खोले जाने के प्रस्ताव से प्रारंभ हुई चर्चा  अंततः पूर्ण शराबबंदी तक जा पहुंची। इसमें मजेदार बात यह है  कि कांग्रेस और भारतीय जनता पार्टी के अंदर ही परस्पर विरोधी स्वर उठने लगे हैं। दोनों ही  पार्टियों के अंदर इस मुद्दे पर कोई एक राय नहीं है। इस पर चल रही रार के बीच शराबबंदी को लेकर प्रदेश की पूर्व मुख्यमंत्री और पूर्व केंद्रीय मंत्री उमा भारती के मैदान में आ जाने के बाद अब यह मुद्दा गंभीर चर्चा का विषय समाज के अंदर बनने की संभावना को नकारा नहीं जा सकता है। इसी  बीच आबकारी आयुक्त द्वारा  कलेक्टरों से 20 प्रतिशत नई शराब दुकान को लेकर प्रस्ताव लगाने के बाद सरकार  की घेराबंदी चालू हो गई। उमा भारती इसके लिए सामाजिक आंदोलन चलाने की आवश्यकता पर जोर दे रही हैं और चरणबद्ध ढंग से इसे लागू करने की बात कह रही हैं। इसकी शुरुआत उन्होंने अपने गृह ग्राम टीकमगढ़ जिले के डूंडा गांव से करने की संकेत दिए हैं।      
आबकारी आयुक्त के प्रस्ताव पर और अधिक विवाद ना बढ़े इस उद्देश्य से मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने यह कहते हुए विराम लगा दिया कि प्रदेश में कोई नई शराब की दुकान नहीं खोली जाएगी। देखने वाली बात यही होगी कि उमा भारती की शराबबंदी को लेकर बुंदेलखंड में चालू की जाने वाली मुहिम किस  मुकाम तक पहुंचती है। एक ओर उमा भारती मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान पर पूर्ण शराबबंदी को लेकर नैतिक दबाव बनाए हुए हैं तो वहीं दूसरी ओर अवैध जहरीली शराब पर अंकुश लगाने के लिए प्रदेश के गृहमंत्री डॉ नरोत्तम मिश्रा  आबादी के मान से दुकानें बढ़ाने के पक्षधर हैं। उनका तर्क है कि अमानक शराब की रोकथाम के लिए दुकानों की संख्या बढ़ाना जरूरी है। मध्यप्रदेश में शराब की दुकान अन्य प्रदेशों की तुलना में प्रति लाख की आबादी पर कम हैं। प्रदेश में शराब की दुकान 04 हैं, उत्तर प्रदेश में 12, महाराष्ट्र  राजस्थान में 17 दुकानें हैं। उमा भारती की पूर्ण शराबबंदी  नई शराब दुकानें बढ़ाने के लिए आबकारी आयुक्त द्वारा मांगे गए प्रस्ताव के बारे में डॉ मिश्रा का कहना है कि शराब के ठेकों की प्रक्रिया एक प्रशासनिक प्रक्रिया है जो चलती रहती है। नशाबंदी की मांग पर उनका कहना है कि उमा दीदी ने अपनी बात रखी है। मैंने अपनी बात रखी है और अंतिम निर्णय तो मुख्यमंत्री को करना है। हमारी पार्टी में अभिव्यक्ति की आजादी है। अभिव्यक्ति की आजादी का परिचय देते हुए प्रदेश भाजपा उपाध्यक्ष मुकेश चतुर्वेदी  ने मीडिया के सवाल पर ग्वालियर में कहा कि अपने तो देवता भी शराब पीते थे। मैंने खुद मृत्युंजय में पढ़ा है कि जब महाभारत में युद्ध की घोषणा हुई तब राजाओं ने घोषणा की थी कि आयुष और शराब निर्माता अपना उत्पादन बढ़ाए, यह तो पुरातन काल से चला आ रहा है।         
प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष पूर्व मुख्यमंत्री कमलनाथ ने नई दुकान बढ़ाने के मुद्दे पर भाजपा को  घेरते हुए कहा कि ये कितना शर्मनाक है कि चुनाव के पूर्व भाजपा शराबबंदी की बात करती थी और वह है कि आज प्रदेश को शराब के दलदल में झोंकने की तैयारी कर रही है। जहरीली शराब के नाम पर शराब दुकानों को बढ़ाने की तैयारियां कर रही है। उन्होंने कहा कि मैं तो शुरू से कहता आया हूं कि मध्यप्रदेश में भले ही लोगों को राशन ना मिले लेकिन सरकार शराब जरूर उपलब्ध कराएगी। कमलनाथ ने सरकार पर शराब प्रेमी सरकार होने का आरोप लगाते हुए चेतावनी दी कि यदि प्रदेश में शराब की दुकानें बढ़ाई गईं तो कांग्रेस चुप नहीं बैठेगी तथा हम सदन से लेकर सड़क तक इस जनविरोधी निर्णय का विरोध करेंगे। यह तो अच्छा हुआ कि शिवराज ने खुद ही नई दुकान न खोलने और शराब नीति के बारे में प्राप्त हुए सुझावों पर विचार कर जनहित में फैसला लेने की बात कही अन्यथा कांग्रेस को ट्विटर से निकलकर जन समस्याओं के लिए मैदान में उतरना पड़ता। हालांकि  हाई कमांड  के इशारे पर  कांग्रेस प्रदेश में  जगह जगह  मैदान में  उतरी तथा आज शनिवार 23 जनवरी को राजभवन का घेराव किया । कांग्रेस के वरिष्ठ विधायक लक्ष्मण सिंह ने राजस्थान की शराब नीति का समर्थन करते हुए हेरिटेज लिकर  पैटर्न को प्रोत्साहित करने की मांग की। उन्होंने कहा कि सरकार यदि क्वालिटी वाली शराब और नई शराब दुकान खोलती है तो उसके राजस्व में भी वृद्धि होगी तथा जहरीली शराब की बिक्री पर रोक लग सकेगी। लक्ष्मण सिंह ने दूरस्थ इलाकों में शराब की दुकानें खोले जाने का समर्थन करते हुए कहा कि यदि सरकार शराब की दुकानें बढ़ाती है तो एग्रो इंडस्ट्रीज को फायदा होगा, रोजगार के अवसर बढ़ेंगे और किसानों को  अच्छे दाम मिलेंगे। मुरैना की घटना के संदर्भ में पूर्ण शराबबंदी की मांग उमा भारती ने की है। लेकिन दोनों बातें अलग-अलग हैं पूर्ण शराबबंदी की मांग एक सामाजिक समस्या है जबकि लोगों की मौत जहरीली शराब पीने से हुई है। लक्ष्मण सिंह के तर्क को देखा जाए तो उसका यही अर्थ निकलता है कि यदि अच्छी गुणवत्ता की शराब लोगों को सुलभ होगी तो फिर लोग जहरीली शराब नहीं पिएंगे। यदि समस्या का निदान करना है तो वह फिलहाल जहरीली अवैध शराब की बिक्री से है और उस पर अंकुश उसी स्थिति में लग सकता है जबकि शराब की दुकान ज्यादा हों, चंद ठेकेदारों का  जिलों में एकाधिकार ना हो तथा लोगों को अच्छी गुणवत्ता की शराब पीने को मिले। वैसे शराबखोरी अच्छी आदत नहीं है स्वास्थ्य के लिए हानिकारक है लेकिन इस पर  रोक सामाजिक आंदोलन के जरिए और लोगो के हृदय परिवर्तन से ही संभव है। बिहार में शराबबंदी है के बाद वहां इस बात के आरोप लगते रहे हैं उसकी होम डिलीवरी हो रही है।  इस पर रोक उसी हालत में लग सकती है जबकि व्यक्ति स्वयं इसे सामाजिक बुराई मानते  हुए नशाखोरी की आदत स्वप्रेरणा से छोड़ें।
पूर्ण नशाबंदी के लिए उमा मैदान में        
उमा भारती ने शराब की दुकान बढ़ाने का विरोध करते हुए सोशल मीडिया पर लिखा था कि थोड़े से राजस्व का लालच और माफिया का दबाव शराबबंदी नहीं होने देता। उन्होंने शराबबंदी को लेकर भाजपा के राष्ट्रीय अध्यक्ष जेपी नड्डा से अपील भी की है। उन्होंने लिखा है कि मैं सार्वजनिक अपील करती हूं कि भाजपा शासित राज्यों में शराबबंदी की तैयारियां कीजिए। दूसरे दिन उमा ने स्वयं मीडिया से चर्चा करते हुए कहा कि शराबबंदी के लिए राजनीतिक साहस और समाज में चिंतन की जरूरत है तथा इससे राजस्व में होने वाली क्षति के  विकल्प तलाशे जाना चाहिये। उन्होंने विश्‍वास व्यक्त किया कि शिवराज सिंह चौहान सामाजिक चिंतन की सोच रखते हैं इसलिए उम्मीद है कि वह इस दिशा में आगे बढ़ेंगे। मंजिल पर पहुंचने से पहले मैंने कभी रास्ता नहीं छोड़ा और चरणबद्ध ढंग से इसे लागू किया जा सकता है। इस अभियान में महिलाओं का अच्छा खासा समर्थन मिलेगा क्योंकि पूरी दुनिया सहित देश और प्रदेश की अधिकांश महिलाएं इस समस्या से परेशान हैं। इसके लिए अब मैं किसी से मिलने वाली नहीं केवल शिवराज सिंह चौहान से मिलकर उन्हें उस योजना की जानकारी दूंगी जो मैंने मुख्यमंत्री रहते शराबबंदी के बाद वैकल्पिक राजस्व संसाधन तलाशने के लिए तैयार की थी। उन्होंने एक निजी चैनल से चर्चा करते हुए संकेत दिया कि वह अपने गृह ग्राम डूंडा जिला टीकमगढ़ की एकमात्र शराब दुकान को बंद कर करायेंगी और उसके बाद बुंदेलखंड में अन्य स्थानों पर दुकान बंद करने के लिए सामाजिक दबाव बनाएंगी।
और  यह भी...         
शिवराज सिंह चौहान के चौथी बार मुख्यमंत्री बनने के बाद इस पारी में 300 दिनों में किए गए कथित 3000 से अधिक तबादलों को लेकर तबादला उद्योग चलाने के ताबड़तोड़ आरोप को लेकर कांग्रेस को भाजपा के प्रदेश मंत्री राहुल कोठारी ने आईना दिखाते हुए कहा है कि तबादला उद्योग शब्द का प्रयोग जब होता है जबकि उसमें पैसे का लेन देन हो। कांग्रेस के नेता और विधायक कमलनाथ सरकार पर यह आरोप लगाते थे कि सरकार तो अफसर चला रहे हैं और लेन-देन का खेल हो रहा है। सीटीबीटी की रिपोर्ट में जो बात सामने आई है उसमें अधिकारियों के नाम के आगे राशि का उल्लेख है। उस सरकार में जिन अधिकारियों को प्रताड़ित किया गया था उन्हें राहत और सुकून देने के लिए तबादले किए गए हैं। भाजपा नेता पंकज चतुर्वेदी ने अपनी तीखी प्रतिक्रिया में कहा है कि मध्य प्रदेश  में ही नहीं बल्कि पूरे देश में कांग्रेस बौद्धिक दिवालियापन की शिकार है। प्रदेश में भाजपा की सरकार ने जो तबादले किए हैं वह आवश्यक एवं अनिवार्य प्रशासनिक प्रक्रिया का हिस्सा हैं। उन्होंने आरोप लगाया कि कांग्रेस में हर जगह दलाली होती है यह बात आयकर के छापों और बाद में निर्वाचन आयोग की कार्यवाही से स्पष्ट है।  तुगलक रोड हवाला कांड करने वाले लोगों को हर तबादले में दलाली नजर आती है। कांग्रेस पर यह चरितार्थ होता है कि जिसकी रही भावना जैसी प्रभु मूरत देखी तिन तैसी । भाजपा के नेता तथा पूर्व मीडिया प्रभारी रहे दीपक विजयवर्गीय का आरोप है कि कमलनाथ सरकार ने तबादला उद्योग चला रखा था जिससे प्रशासन की गुणवत्ता प्रभावित हुई थी। नकारात्मक बातों से प्रदेश को उबरने के लिए गुण दोष के आधार पर तबादले किए गए हैं।
अरुण पटेल, लेखक                                                                 ये लेखक के अपने विचार है I 
प्रबंध संपादक सुबह सवेर 
कार्यकारी संपादक अमृत संदेश

अन्य महत्वपुर्ण खबरें

 16 November 2024
महाराष्ट्र में भाजपानीत महायुति और कांग्रेसनीत महाविकास आघाडी के लिए इस बार का विधानसभा चुनाव जीतना राजनीतिक  जीवन मरण का प्रश्न बन गया है। भाजपा ने शुरू में यूपी के…
 07 November 2024
एक ही साल में यह तीसरी बार है, जब भारत निर्वाचन आयोग ने मतदान और मतगणना की तारीखें चुनाव कार्यक्रम घोषित हो जाने के बाद बदली हैं। एक बार मतगणना…
 05 November 2024
लोकसभा विधानसभा चुनाव के परिणाम घोषित हो चुके हैं।अमरवाड़ा उपचुनाव में भाजपा प्रत्याशी कमलेश शाह को विजयश्री का आशीर्वाद जनता ने दिया है। लोकसभा चुनाव में भाजपा ने 29 की 29 …
 05 November 2024
चिंताजनक पक्ष यह है कि डिजिटल अरेस्ट का शिकार ज्यादातर वो लोग हो रहे हैं, जो बुजुर्ग हैं और आमतौर पर कानून और व्यवस्था का सम्मान करने वाले हैं। ये…
 04 November 2024
छत्तीसगढ़ के नीति निर्धारकों को दो कारकों पर विशेष ध्यान रखना पड़ता है एक तो यहां की आदिवासी बहुल आबादी और दूसरी यहां की कृषि प्रधान अर्थव्यस्था। राज्य की नीतियां…
 03 November 2024
भाजपा के राष्ट्रव्यापी संगठन पर्व सदस्यता अभियान में सदस्य संख्या दस करोड़ से अधिक हो गई है।पूर्व की 18 करोड़ की सदस्य संख्या में दस करोड़ नए सदस्य जोड़ने का…
 01 November 2024
छत्तीसगढ़ राज्य ने सरकार की योजनाओं और कार्यों को पारदर्शी और कुशल बनाने के लिए डिजिटल तकनीक को अपना प्रमुख साधन बनाया है। जनता की सुविधाओं को ध्यान में रखते…
 01 November 2024
संत कंवर रामजी का जन्म 13 अप्रैल सन् 1885 ईस्वी को बैसाखी के दिन सिंध प्रांत में सक्खर जिले के मीरपुर माथेलो तहसील के जरवार ग्राम में हुआ था। उनके…
 22 October 2024
वर्तमान समय में टूटते बिखरते समाज को पुनः संगठित करने के लिये जरूरत है उर्मिला जैसी आत्मबल और चारित्रिक गुणों से भरपूर महिलाओं की जो समाज को एकजुट रख राष्ट्र…
Advertisement