नई दिल्ली। ई-कॉमर्स कंपनियों की साइट पर सब्जियों से लेकर अन्य खाद्य सामग्री के दामों में कमी नहीं आई है। वहीं, सामान की डिलीवरी में 2 से 3 दिन का समय लग रहा है। ऐसे में ई-कॉमर्स कंपनियों पर निर्भर लोगों को परेशानी हो रही है। केंद्र सरकार ने लॉकडाउन में सभी ई-कॉमर्स कंपनियों को राशन व अन्य खाद्य सामान की डिलीवरी के लिए छूट प्रदान कर रखी है। लॉकडाउन की घोषणा के बाद ई-कॉमर्स कंपनियों पर डिलीवरी को लेकर अधिक दबाव बन गया था। ऐसे में कई कंपनियां डिलीवरी के लिए 1 सप्ताह से अधिक का समय दिखा रही थीं। वहीं, दामों में भी इजाफा देखा गया था।
- सोसाइटी की बढ़ी परेशानी
राशन खरीद में अधिक परेशानी सोसाइटियों में रहने वाले लोगों को हो रही है। लॉकडाउन के बाद से ई-कॉमर्स कंपनियों के पोर्टल पर राशन व अन्य खाद्य सामग्रियों के दाम अधिक दिख रहे थे। एक सप्ताह बीत जाने के बाद दामों में कुछ कमी हुई है, लेकिन कुछ चीजों के दाम अभी भी बढ़े हुए हैं। किसी भी सामान का ऑर्डर देने पर उसका डिलीवरी समय दो से तीन दिन दिख रहा है। वहीं, आसपास भी किराना स्टोर की संख्या कम है। जो किराना स्टोर हैं, वह अपार्टमेंट से दूर हैं। इस वजह से उन तक पहुंचना भी मुश्किल है। यही कारण है कि ई-कॉमर्स कंपनियों पर ही निर्भर हैं।नई दिल्ली (ईएमएस)। ई-कॉमर्स कंपनियों की साइट पर सब्जियों से लेकर अन्य खाद्य सामग्री के दामों में कमी नहीं आई है। वहीं, सामान की डिलीवरी में 2 से 3 दिन का समय लग रहा है। ऐसे में ई-कॉमर्स कंपनियों पर निर्भर लोगों को परेशानी हो रही है। केंद्र सरकार ने लॉकडाउन में सभी ई-कॉमर्स कंपनियों को राशन व अन्य खाद्य सामान की डिलीवरी के लिए छूट प्रदान कर रखी है। लॉकडाउन की घोषणा के बाद ई-कॉमर्स कंपनियों पर डिलीवरी को लेकर अधिक दबाव बन गया था। ऐसे में कई कंपनियां डिलीवरी के लिए 1 सप्ताह से अधिक का समय दिखा रही थीं। वहीं, दामों में भी इजाफा देखा गया था।
- सोसाइटी की बढ़ी परेशानी
राशन खरीद में अधिक परेशानी सोसाइटियों में रहने वाले लोगों को हो रही है। लॉकडाउन के बाद से ई-कॉमर्स कंपनियों के पोर्टल पर राशन व अन्य खाद्य सामग्रियों के दाम अधिक दिख रहे थे। एक सप्ताह बीत जाने के बाद दामों में कुछ कमी हुई है, लेकिन कुछ चीजों के दाम अभी भी बढ़े हुए हैं। किसी भी सामान का ऑर्डर देने पर उसका डिलीवरी समय दो से तीन दिन दिख रहा है। वहीं, आसपास भी किराना स्टोर की संख्या कम है। जो किराना स्टोर हैं, वह अपार्टमेंट से दूर हैं। इस वजह से उन तक पहुंचना भी मुश्किल है। यही कारण है कि ई-कॉमर्स कंपनियों पर ही निर्भर हैं।